पेंशन विदाउट टेंशन! EPFO के बदले नियम, एक महीने की नौकरी पर भी मिलेगी पेंशन EPFO Pension Rule चेंज

EPFO Pension Rule Change: आज कल सरकारी नौकरी मे भी पेंशन नहीं रहा और ऐसे मे सभी नौकरी करने वाले लोगों के लिए रिटायरमेंट के बाद मिलने वाली पेंशन एक महत्वपूर्ण विषय बन गया है। खासतौर पर उन कामगारों के लिए जो किसी एक जगह पर लंबे समय तक काम नहीं कर पाते हैं। कई लोगों को अपनी जरूरतों, परिस्थितियों या अन्य कारणों से अक्सर अपनी नौकरी बदलनी पड़ती है। पहले की व्यवस्था में ऐसे कामगारों को कर्मचारी भविष्य निधि संगठन यानी ईपीएफओ की पेंशन योजना का पूरा फायदा नहीं मिल पाता था। इस समस्या को देखते हुए सरकार ने नियमों में एक अहम बदलाव किया है जिससे अब केवल एक महीने की नौकरी करने पर भी कर्मचारी को पेंशन का हक मिल सकेगा।

पुरानी व्यवस्था में क्या थी दिक्कत

पुराने नियमों के अनुसार अगर किसी कर्मचारी ने छह महीने से कम समय तक नौकरी की थी तो उसका पेंशन में जमा हुआ पैसा मान्य नहीं होता था। इस नियम की वजह से उस पूरी अवधि का योगदान बेकार चला जाता था और कर्मचारी को कोई फायदा नहीं मिलता था। कई बार लोग अपनी निजी परेशानियों, बेहतर नौकरी की तलाश या अनुबंध खत्म होने जैसे कारणों से कम समय में ही नौकरी छोड़ देते थे। ऐसे हालात में उनका जमा हुआ पैसा सिर्फ पीएफ खाते में दिखता था लेकिन पेंशन का कोई हक नहीं मिलता था। इस सख्त नियम की वजह से थोड़े समय के लिए काम करने वाले लाखों लोगों को बड़ा आर्थिक नुकसान होता था। खासतौर पर आज के दौर में जब नौकरियों की प्रकृति बदल रही है तब यह नियम बिल्कुल भी उचित नहीं था।

नए नियम से मिलने वाले फायदे

सरकार द्वारा ईपीएफओ पेंशन नियमों में किया गया यह बदलाव कामगारों के लिए बहुत बड़ी राहत लेकर आया है। अब अगर कोई व्यक्ति सिर्फ एक महीने के लिए भी काम करता है तो उसका योगदान ईपीएस में जोड़ा जाएगा और आगे चलकर उसे पेंशन का फायदा मिलेगा। इस बदलाव से बीपीओ में काम करने वाले, लॉजिस्टिक्स सेक्टर के लोग, ई-कॉमर्स कंपनियों में काम करने वाले, डिलीवरी करने वाले साथी और अनुबंध पर काम करने वाले कर्मचारियों को सीधा लाभ होगा। इन क्षेत्रों में अक्सर लोग थोड़े समय के लिए काम करते हैं और अलग-अलग कारणों से नौकरी बदल लेते हैं। पहले उनकी मेहनत और योगदान पूरी तरह से व्यर्थ हो जाता था लेकिन अब उनका पेंशन का अधिकार हमेशा के लिए सुरक्षित रहेगा।

कर्मचारी पेंशन योजना की जानकारी

ईपीएफओ के तहत चलने वाली कर्मचारी पेंशन योजना को ईपीएस के नाम से जाना जाता है। इस योजना का असली मकसद कामगारों को रिटायरमेंट के बाद आर्थिक मजबूती देना है। नौकरी के दौरान हर महीने कर्मचारी और कंपनी दोनों की ओर से भविष्य निधि में पैसा जमा होता है। इस जमा राशि का एक हिस्सा ईपीएस के लिए अलग रखा जाता है। पहले यह सुविधा सिर्फ उन्हीं लोगों को मिलती थी जिन्होंने एक ही संस्था में लगातार लंबे समय तक काम किया हो। लेकिन अब नए नियमों के मुताबिक इस व्यवस्था को सभी कर्मचारियों के लिए आसान और सही बनाया गया है। इस नई व्यवस्था की वजह से अब नौकरी छोड़ने या बदलने की स्थिति में भी कर्मचारी का जमा किया गया पैसा सुरक्षित रहेगा।

शिकायत करने की सुविधा

कई बार कर्मचारियों को अपनी डिजिटल पासबुक में ईपीएस की कटौती ठीक से नहीं दिखती है। ऐसी स्थिति में परेशान होने की जरूरत नहीं है क्योंकि ईपीएफओ की वेबसाइट पर ऑनलाइन शिकायत करने का विकल्प मौजूद है। शिकायत करते समय कर्मचारी को अपना यूएएन नंबर, नौकरी की सही अवधि और साल का जिक्र करना जरूरी होगा ताकि समस्या का जल्दी समाधान हो सके। यह पूरी प्रक्रिया ऑनलाइन और बहुत आसान है। शिकायत दर्ज करने के बाद ईपीएफओ के अधिकारी मामले की जांच करते हैं और जरूरी सुधार करते हैं। इस सुविधा से कर्मचारियों को अपने अधिकार सुरक्षित करने में मदद मिलती है।

अपनी पेंशन की जानकारी कैसे देखें


अगर आप यह जानना चाहते हैं कि आपके खाते में ईपीएस का पैसा सही तरीके से जमा हो रहा है या नहीं तो इसे आसानी से ऑनलाइन चेक किया जा सकता है। सबसे पहले ईपीएफओ की असली वेबसाइट पर जाकर अपनी डिजिटल पासबुक देखनी होगी। पासबुक में ईपीएफ और ईपीएस दोनों का पूरा विवरण साफ तौर पर दिखाई देता है। इसके लिए आपको अपना यूएएन नंबर और पासवर्ड डालकर लॉगिन करना होगा। डिजिटल पासबुक में हर महीने जमा हुए पैसे की पूरी जानकारी मिलती है। अगर किसी महीने में पेंशन का योगदान नहीं दिख रहा है तो यह एक समस्या हो सकती है और ऐसे मामलों में कर्मचारी सीधे ईपीएफओ के अधिकारियों से शिकायत कर सकता है।

किन लोगों को होगा सबसे ज्यादा फायदा


इस नए नियम का सबसे ज्यादा फायदा उन कर्मचारियों को मिलेगा जो अस्थायी नौकरियों में काम करते हैं। जैसे कॉल सेंटर में काम करने वाले, डिलीवरी एजेंट, अनुबंध पर काम करने वाले, प्राइवेट दफ्तरों में थोड़े समय के लिए काम करने वाले और गांव-शहर के वे लोग जो आर्थिक मजबूरियों की वजह से बार-बार नौकरी बदलते रहते हैं। पहले इन मेहनती लोगों को पेंशन योजना का कोई लाभ नहीं मिलता था लेकिन अब उनकी मेहनत और योगदान सुरक्षित रहेगा। हर महीने की कमाई से जमा होने वाला हिस्सा ईपीएस में लगातार जुड़ता रहेगा और भविष्य में उन्हें पेंशन का सहारा मिलेगा। इससे उनकी लंबे समय की आर्थिक सुरक्षा मजबूत होगी।

Disclaimer

यह लेख केवल जानकारी देने के उद्देश्य से लिखा गया है। ईपीएफओ पेंशन योजना के नियम समय-समय पर बदल सकते हैं। पेंशन या निवेश से जुड़ा कोई भी अहम फैसला लेने से पहले ईपीएफओ की आधिकारिक वेबसाइट जरूर देखें या किसी योग्य वित्तीय सलाहकार से सलाह लें। हर व्यक्ति की स्थिति अलग होती है इसलिए नियमों का असर भी अलग हो सकता है।अगर आप की अपने pf से सम्बन्धित किसी समस्या का समाधान चाहिए तो आप अपने EPFO कार्यालय से संपर्क करें।

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